उत्तराखण्ड

सीएम धामी ने “गुल्लक“ कार्यक्रम में किया प्रतिभाग

देहरादून: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने उत्तराखंड उद्यमिता समिट के “गुल्लक“ नामक कार्यक्रम में प्रतिभाग किया| इस दौरान उन्होंने ग्रामीण क्षेत्रों के उद्यमियों के लिए इस कार्यक्रम को लाभदायक बताया| उन्होंने कहा कि इससे ग्रामीण क्षेत्रों के व्यवसायियों को विभिन्न क्षेत्रों में सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं के बारे में जानकारी मिल सकेगी। ग्रामीण उद्यमियों के लिएआयोजित “गुल्लक“ कार्यक्रम देशभर में अपनी तरह का पहला कार्यक्रम है जिसमें निवेशक ग्रामीण उद्यमियों के साथ सीधे संवाद कर उनके उद्यमों में निवेश कर सकेंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में उद्यमिता विकास को गति प्रदान करने के लिए हमारी सरकार ने विगत वर्ष “रूरल बिजनेस इनक्यूबेटर्स“ की स्थापना जनपद अल्मोड़ा के हवालबाग में और जनपद पौड़ी के कोटद्वार में की। वर्तमान में इन “रूरल बिजनेस इनक्यूबेटर्स“ के माध्यम से ग्रामीण उद्यमियों को विभिन्न प्रकार की सेवाएं दी जा रही हैं इनक्यूबेटर्स के अच्छे परिणामों को देखते हुए इस योजना को हब एवं स्पॉक मॉडल के अंर्तगत राज्य के अन्य 11 जनपदों में क्रियाशील किए जाने के लिए “रूरल बिजनेस इन्क्यूबेटर“ के स्पॉक स्थापित किए जाएंगे। इन इनक्यूबेटर्स के माध्यम से हमारे उद्यमियों को नए अवसर प्राप्त हो सकेंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि हम सबका यह प्रयास होना चाहिए कि जो जिस क्षेत्र में कार्य कर रहा है उसे बेहतर ढंग से करे तथा अपने अनुभवों को साझा करें। समाज के अंतिम पंक्ति में खड़े व्यक्ति तक योजनाओं का लाभ पहुंचे यह हमारा दायित्व होना चाहिए। ग्रामीण उद्यमिता के विकास से हमारे युवा स्वरोजगार से जुड़ेंगे तथा नौकरी पाने के बजाय नौकरी देने वाले बनेंगे। ग्रामीण उद्यमियों के उत्पादों के विपणन की बेहतर व्यवस्था पर हमारा ध्यान है। आज देश में आयात को निर्यात में बदलने की प्रक्रिया की शुरुआत हो रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में पलायन की समस्या से निजात पाने के लिए विशेष रूप से कार्य कर रही है। राज्य के नागरिकों को अपने स्थान पर रहकर ही स्वरोजगार के अवसर उपलब्ध कराने के लिए सरकार ने राज्य के सुदूर क्षेत्रों में विभिन्न प्रकार की केंद्र पोषित, राज्य पोषित और वाह्य सहायतित स्वरोजगार परक योजनाओं का संचालन कर रही है। ग्रामीण क्षेत्रों में होने वाले व्यवसाय में महिलाओं की सहभागिता अधिक रहती है, इसको ध्यान में रखते हुए हमारी सरकार स्वरोजगार के क्षेत्र में महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए विशेष रूप से प्रयास कर रही है। हमने 1.25 लाख बहनों को लखपति दीदी बनाने की योजना बनाई है, उन्हें भी उद्यमिता से जोड़ने के प्रयास किये जा रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि आज से भारत सरकार के निर्देशन में आगामी एक माह तक “मिशन अंत्योदय सर्वे“ मोबाइल ऐप के माध्यम से किया जाना सुनिश्चित हुआ है। इस सर्वे में सामुदायिक काडर की महिलाओं द्वारा आर्थिक विकास, गांवों की आधारभूत संरचना, सेवाओं और सामाजिक न्याय से संबंधित विषयों पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि यह सर्वे गुणवत्तापूर्ण रूप से संपन्न होने के साथ राज्य के सर्वांगीण विकास में इस सर्वे का लाभ प्राप्त हो सकेगा। इस अवसर पर ग्राम्य विकास मंत्री गणेश जोशी ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा एक अभिनव पहल करते हुये राज्य में रूरल बिजनेस इन्क्यूबेटर्स योजना प्रारम्भ की गयी, जिसमें दो इन्क्यूबेटर्स कमशः जनपद अल्मोड़ा व पौड़ी में स्थापित किये गये। इन इन्क्यूबेटरों के माध्यम से ग्रामीण उद्यमियों को उनके नये उद्यम स्थापना तथा स्थापित उद्यमों के विस्तारीकरण के लिए विभिन्न प्रकार के तकनीकी सहायता, मेन्टरशिप सहयोग, विधिक सहयोग, विपणन सहयोग आदि प्रदान किया जा रहा है। जहाँ पर दक्ष मानव संसाधन ग्रामीण उद्यमिता को बढ़ावा देने के लिए भावी ग्रामीण उद्यमियों को तैयार करने में मदद कर रहा है। गत एक वर्ष में लगभग 500 से अधिक इन्क्यूबेटीज़ द्वारा इन्क्यूबेटर्स के माध्यम से लाभ प्राप्त कर अपने उद्यमों की स्थापना अथवा उद्यम विस्तार में सहायता प्राप्त की गयी है। इस अवसर पर पूर्व सांसद तरुण विजय, सचिव बी.वी.आर.सी पुरूषोत्तम, आयुक्त ग्राम्य विकास आनन्द स्वरूप, अपर सचिव ग्राम्य विकास नितिका खंडेलवाल सहित अन्य अधिकारी उद्यमी तथा निवेशक उपस्थित रहें।

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