उत्तराखण्डस्वास्थ्य
‘वर्ल्ड हेयरिंग डे’ पर बहरेपन को रोकने के लिए चलाया जागरूकता अभियान
जानिए डॉक्टर्स की सलाह
रूद्रप्रयाग : राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, रूद्रप्रयाग के निरीक्षण में वर्ल्ड हेयरिंग डे पर गोष्ठियों का आयोजन किया गया I जिसमे बहरेपन व सुनने की हानि को रोकने के लिए जनमानस को जागरूक किया गया। इस अवसर पर मोबाइल के संतुलित उपयोग करने व तेज ध्वनि में संगीत सुनने से बचने पर जोर दिया गया।
इस दौरान मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. एच.सी.एस. मर्तोलिया ने बताया कि इस वर्ष सभी के लिए कान एवं श्रवण देखभाल ‘आओ इसे मिलकर संभव बनाएं’ थीम के साथ विश्व श्रवण दिवस का आयोजन किया गया है। उन्होंने कहा कि बहरेपन व श्रवण हानि के कारण व उसके निवारण के प्रति जागरूकता के उद्देश्य से प्रत्येक वर्ष 03 मार्च विश्व श्रवण दिवस के रूप में मनाया जाता है। बताया कि इसके तहत जनपद में जिला स्तर के साथ-साथ सभी 44 हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर में जागरूकता गोष्ठियों का आयोजन कर बहरेपन की समस्या के समाधान के प्रति लोगों को जागरूक किया गया।
इन लक्षणों को न करे अनदेखा
जिला स्तर पर आयोजित संगोष्ठी में ऑडियोलॉजिस्ट राखी भारद्वाज ने कहा कि किसी का कान बहता है तो कान में पानी और किसी प्रकार का तरल पदार्थ न डालें, मवाद आने पर साफ और नरम कपड़े से कान साफ करें, कान के मवाद में बदबू होना या खून आना गंभीर रोग के लक्षण हो सकते हैं, कान में मवाद आते रहने पर बहरापन हो सकता है।
कहा कि यदि कान में कुछ रिसाव हो या कम सुनाई दे तो संबंधित व्यक्ति को तुरंत नजदीकी चिकित्सालय में जाकर अपनी जांच करानी चाहिए। उन्होंने कहा कि 60 प्रतिशत से भी अधिक कान एवं श्रवण संबंधित रोगों का उपचार प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर किया जा सकता है।
डा0 शाकिब हुसैन ने बताया कि मौजूदा परिवेश में ध्वनि प्रदूषण का स्तर बढ रहा है, लिहाजा सभी को ऐहतियातन ध्वनि प्रदूषण से बचने के लिए अपने व्यवहार में कुछ परिवर्तन लाने की जरूरत है। उन्होंने तेज आवाज अथवा तेज संगीत सुनने से बचने, शोरभरी जगह पर इयरप्लग का इस्तेमाल करने, दूसरे का इयरप्लग या इयरफोन का इस्तेमाल न करने, अपनी श्रवण शक्ति की नियमित रूप जांच करने, कान में सुनने में कठिनाई होने पर तत्काल डाक्टर से सलाह लेने, डाक्टर की सलाह पर हेयरिंग एड का नियमित उपयोग करने पर जोर दिया।
हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर में आयोजित कार्यक्रमों में सीएचओ द्वारा बहरेपन के लक्षण दिखाई देने पर नजरअंदाज न करने की हिदायत भी दी गई। बताया गया नहाते वक्त कान में पानी न जाए, मोबाइल फोन का संतुलित उपयोग करने, तेज ध्वनि में संगीत सुनने की आदत से बचने व ध्वनि प्रदूषण वाली जगहों पर जाने से बचने की सावधानी बरतने की अपील की गई।
इस अवसर पर डा. एजाज अहमद, डा. राजेश पुंडीर, ऑडियोमेट्रिस्ट संजय सिंह, सीएचओ आरती धरवाण, दीपक नौटियाल, डा. मनवर सिंह रावत दिगपाल कंडारी, मुकेश बगवाड़ी, विपिन सेमवाल, सतीश नौटियाल, नागेश्वर बगवाड़ी, यशवंत राणा, आदि मौजूद रहे।